गणेश जी की उपासना, बृहस्पति का अनुष्ठान, गाय को भोजन, केसर का तिलक, बकरी का दान आदि उपाय के द्वारा बुध ग्रह शान्ति की जा सकती है।
Author Archives: Rajkumar Jain
दो नींबू का रस सुबह शौच के बाद, दोपहर को भोजन के बाद, पुनः शाम को पाव भर पानी के साथ पीने से कब्ज दूर होता है।
प्रारम्भ में ही अधिक व्यायाम न कर कर धीरे धीरे अभ्यास बढ़ाना चाहिए। प्रारम्भ में व्यायाम से शायद पहले शरीर में कुछ दर्द हो किन्तु उसकी परवाह न करना चाहिये।
अंगूर सभी फलों में स्वादिष्ठ एवं उत्तम फल है। इसमें सर्वोत्तम प्रकार का ग्लूकोज एवं फ्रक्टोज होता है, जिससे शरीर में ऊर्जा तथा ताप प्रदान करके शक्ति की वृद्धि करता है।
आम फलों का राजा है तो फलों की रानी बनने के सभी गुण नारंगी में हैं, इसी कारण नारंगी को फलों की रानी कहा जाता है।
राहु बारहवें भाव में नीच होता है और उसका कारक भाव भी है तथा केतु छठे भाव में नीच होता है और उसका कारक भाव भी है।
कुंडली में १२ भाव होते है और ९ राशि होती है। प्रत्येक ग्रह किसी एक राशी में उच्च स्थिति में होता है और उससे ठीक सातवे स्थान पर नीच स्थिति का होता है।
शनि की अशुभता निवारण करने वाला रत्न नीलम है। नीलम रत्न धारण करने से शनि की अशुभता कम हो सकती है अथवा बिल्कुल भी समाप्त हो सकती है।
यह तैंतीस अंकीय शनि यंत्र अति विशिष्ठ एवम् प्रभावकारी है। इस यंत्र की रचना लोहे अथवा जस्ते के पत्र अथवा भोजपत्र पर काली स्याही से करें।
शनि गोचर में परिभ्रमण करता हुआ जन्मराशि से बारहवें भाव में आता है तब वह वहां पर ढाई वर्ष तक निवास करता है बाद में वह जन्मराशि में ढ़ाई वर्ष रहता है और पुनः जन्म राशि से दूसरे भाव में ढाई वर्ष की अवधि तक रहता है। यही शनि की साढ़े साती है।